Monday, 25 July 2022

'हम' - Movie

 

Hum फिल्म तो आने के पहले ही Superhit हो गई थी। फिल्म की एन्डीग के टाईटल देख लिजीए, जिस के अंत में लिखा था की 'Next Show Housfull'! मै तो बच्चा था ईसलिए फिल्म देख कर थियेटर से बाहर भीड देख कर अचंबित हो गया की, ईनको कैसे पता अगला शो आउसफुल होने ही वाला है!
 
खैर। फिल्म का 'Jumma Chumma' गाना थानेदार फिल्म के 'Tamma Tamma' के साथ controvercy के बाद उससे कहीं आगे निकल चुका था । 'जुम्मा चुम्मा' गाने पर राष्ट्रीय ban लगा था। ईसी कारणवश ईसे बहुत समय तक रेडियो और टीवी पर दर्शाया नहीं गया था। 'जुम्मा चुम्मा' और का 'तम्मा तम्मा' गाना एक आफ्रिकन गाने पर से बनाए गए थे। दोनो गानों में होड लगी थी की कोन सा सुपरहीट होगा। ईसके अलावा सारे गाने जैसे की एक-दूसरे से करते है प्यार हम, कागज़ कलम दवात ला, सनम मेरे सनम को लक्ष्मीकांत-प्यारेलाल ने संगीत से एसे तरबतर किया था की उसके ओडियो कैसेट भी धडल्ले से बिक रहे थे।
 
फिल्म के सारे छोटे-बडे केरेक्टर्स ईतने ईंटरेस्टींग बनाए थे की ईसे देख कर शोले की याद आ जाती है। बख्तावर, शेखर, कुमार, विजय, जुम्मा, सतरंगी, ईंन्स्पेक्टर गिरधर और केप्टन झटाक! बच्चन सा'ब को बड़े परदे पर देखना एक रोमांच होता था और साथ में Rajnikant, Govinda जैसे हीरो का ईस फिल्म में होना ईस फिल्म का मज़ा तीन गुना बढा दिया।

उस समय तो स्टोरी लाईन भी बहुत बढिया लगी थी। टाईगर के पुराने दिनों से कहानी मोड ले कर आज के शेखर तक जब पहुंचती थी तब लगता था की एक पुरी फिल्म देखने के बाद दुसरी फिल्म शुरु हो गई हो!दोनो हिस्से में अपना अपना रोमांच और मनोरंजन है।

ईसका गीत 'एक दुसरे से' मुझे तो बहुत अच्छा लगता था और स्कुल से चल कर घर आते हुए... अपने दोस्तों के साथ कभी कभी वही गाना गाते हुए आते थे। ओडियो कैसेट तो मैने फिल्म देख कर घर आते समय ही खरीदवा लिया था। उस पर बना टाईटल टेक्स्ट भी ड्रोईंग करना अच्छा लगता था। जो मैने कई बार डायरी वगैरह में बनाता रहता था।

ईस फिल्म की शुरुआत में जो गरीबी और गुंडागर्दी के सींस थे, वह अपने लोकेशन और डाईरेक्शन के कारण बहुत रियल लग रहे थे,  ठीक वैसे ही जैसे अग्निपथ में थे।  फिर पता चला था की दोनों के डाईरेक्टर एक ही थे... मुकुल एस. आनंद। लेकिन एसा जादु फिर देखने को नहीं मिला और १९९७ में वे चल बसे।

वैसे ईस फिल्म में गोन्साल्विस जो टाईगर के दोस्त और जुम्मा के भाई बने थे... वही ईस फिल्म के प्रोड्युसर रोमेश शर्मा है।

ईस फिल्म का असर ईतना तगड़ा था की अगले दो साल तो ईसी के गाने में घर पर बजाता रहता। फिर एक एसी ही दमदार फिल्म मुझे थियेटर में देखने को मिली... नरसिम्हा! उसके बारे में आगे पढने के लिए नीचे लिक पर क्लिक करें।
 

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